स्कूल कैंटीन में पिज्जा बर्गर, चिप्स पर रोक
केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने स्कूलों में जंक फूड की बिक्री और उसके प्रयोग करने पर रोक लगा दी है। बोर्ड ने इसकी जगह पर स्वास्थ्य वर्द्धक स्नैक्स के प्रयोग की बात कही है। सीबीएसई ने अपने से जुड़े स्कूलों के बाहर 200 मीटर की परिधि तक फास्ट फूड की बिक्री पर रोक लगाने का आदेश दिया है। सीबीएसई ने चिप्स, फ्राइड फूड, कार्बोनेटेड ड्रिंक, तैयार नूडल्स, पिज्जा, बर्गर, पोटैटो फ्राई, कन्फेक्शनरी आइटम चाकलेट, कैंडी, समोसा, ब्रेड पकौड़ा सहित स्वास्थ्य के लिए हानिकारक सामग्री को स्कूल की कैंटीन में बिक्री पर रोक लगा दी है।
सीबीएसई की ओर से फास्ट फूड पर रोक लगाने का निर्णय स्कूल की कैंटीन में मिलने वाले खाद्य पदार्थों से मोटापा, सॉल्ट शुगर से जुड़ी बीमारी के बढ़ने के कारण लिया है। इनके अधिकाधिक प्रयोग से बच्चों को डायबीटिज, हाइपरटेंशन, वसा असंतुलन, क्रोनिक इनफ्लेमेशन, दिल की बीमारी हो रही है।
स्कूली बच्चों में बढ़ रही बीमारी को देखते हुए भारत सरकार के महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने इसके लिए एक कार्यदल का गठन किया, इसी कार्यदल की रिपोर्ट के आधार पर सीबीएसई ने स्कूलों में जंक फूड पर रोक लगाई गई है।
सीबीएसई के सचिव जोसफ इमैनुएल की ओर से जारी सूचना में स्कूल के प्रधानाचार्यों से कहा गया है कि वह स्कूल कैंटीन प्रबंधन के लिए सात से दस सदस्यीय एक कमेटी का गठित करें।
•सीबीएसई ने जंक फूड तैयार करने एवं उपयोग पर लगाई रोक
सीबीएसई की ओर से फास्ट फूड पर रोक लगाने का निर्णय स्कूल की कैंटीन में मिलने वाले खाद्य पदार्थों से मोटापा, सॉल्ट शुगर से जुड़ी बीमारी के बढ़ने के कारण लिया है। इनके अधिकाधिक प्रयोग से बच्चों को डायबीटिज, हाइपरटेंशन, वसा असंतुलन, क्रोनिक इनफ्लेमेशन, दिल की बीमारी हो रही है।
स्कूली बच्चों में बढ़ रही बीमारी को देखते हुए भारत सरकार के महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने इसके लिए एक कार्यदल का गठन किया, इसी कार्यदल की रिपोर्ट के आधार पर सीबीएसई ने स्कूलों में जंक फूड पर रोक लगाई गई है।
सीबीएसई के सचिव जोसफ इमैनुएल की ओर से जारी सूचना में स्कूल के प्रधानाचार्यों से कहा गया है कि वह स्कूल कैंटीन प्रबंधन के लिए सात से दस सदस्यीय एक कमेटी का गठित करें।
•सीबीएसई ने जंक फूड तैयार करने एवं उपयोग पर लगाई रोक
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